7 लाख 47 हजार प्रति माह किराया, 5 साल बाद स्मार्ट सिटी का होगा रोबोट, 250 मैनहोल की सफाई का लक्ष्य
नागपुर समाचार : बढ़ते शहरीकरण के कारण सीवर मैनहोल की सफाई एक बड़ी समस्या बन गई है। चौड़ी सड़कों पर बड़ी-बड़ी मशीनें सीवेज चैंबर की सफाई में मदद करती हैं, लेकिन संकरी सड़कों पर ऐसा करना मुश्किल हो जाता है। इस समस्या के समाधान के लिए नागपुर स्मार्ट सिटी रोबोट के जरिए सफाई व्यवस्था की मदद ले रही है। शहर में मैनहोल की सफाई और रखरखाव के लिए नागपुर स्मार्ट सिटी ने सीवर लाइन के मैनहोल में प्रवेश किए बिना मैनहोल की सुरक्षित सफाई के मुख्य उद्देश्य के लिए तीन सफाई रोबोट किराए पर लिए हैं। पिछले 14 दिनों में इस रोबोट से शहर के 390 मैनहोल साफ किए जा चुके हैं।
7 लाख 47 हजार प्रति माह किराया : इन तीनों रोबोट का किराया 7 लाख 47 हजार प्रति माह होगा, जिसमें नवीनतम रोबोट का उपयोग करने के लिए आवश्यक कुशल जनशक्ति, वाहन और शहर के विभिन्न हिस्सों में परिवहन के लिए आवश्यक खर्च, रोबोट के रखरखाव और मरम्मत और अन्य सभी शामिल हैं। वहीं टारगेट के अनुसार किराये का भुगतान किया जाएगा। जीईएम पोर्टल पर इस रोबोट की कीमत 39 लाख 52 हजार रुपये है। रोबोट होने से कुछ भी सरल नहीं होने वाला है, किराए पर लेने का उद्देश्य बेहतर काम, बेहतर रखरखाव और मशीन का उचित कार्य करना है। हर रोबोट के पीछे एक ऑपरेटर, एक सुपरवाइजर और दो स्टाफ समेत चार लोगों की टीम होती है। इनका खर्चा ठेकेदार उठा रहे हैं।
250 मैनहोल की सफाई का लक्ष्य : प्रत्येक रोबोट को शहर में 250 मैनहोल साफ करने का लक्ष्य दिया गया है और लक्ष्य पूरा होने पर ही पूरा किराया दिया जाएगा। साथ ही 250 से कम मैनहोल की सफाई करने पर 75 प्रतिशत राशि उक्त कंपनी को तथा 200 से कम मैनहोल की सफाई होने पर 50 प्रतिशत राशि देने का निर्णय लिया गया है। उम्मीद है कि तीन रोबोट शहर में कुल 750 मैनहोल साफ करेंगे। यह पूरी प्रक्रिया मनपा के अधिकारियों द्वारा सुनिश्चित करने के बाद ही उक्त कंपनी को पैसे का भुगतान किया जाएगा।
5 साल बाद स्मार्ट सिटी का होगा रोबोट : शहर में मैनहोल की सफाई का काम तेज हो गया है। समझौते के मुताबिक पांच साल बाद इन रोबोट्स का स्वामित्व स्मार्ट सिटी के पास होगा। इस रोबोट के जरिए पिछले 14 दिनों में नागपुर मनपा के सतरंजीपुरा, लकड़गंज और गांधीबाग जोन में 390 मैनहोल साफ किए गए हैं। रोबोट द्वारा की जाने वाली सफाई की जानकारी जीपीएस सिस्टम के जरिए मिल जाती है। रोबोट की दक्षता के कारण अन्य जोन में भी उक्त रोबोट की मांग बढ़ रही है, प्रत्येक जोन में इस रोबोट द्वारा सफाई की जा रही है।