मुख्यमंत्री और मंत्रियों के खिलाफ भी दर्ज हो सकेंगे मामले
नागपुर समाचार : मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख़्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने राज्य में भस्टाचार के मुद्दे पर बड़ा निर्णय लिया है। मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में राज्य में लोकायुक्त लागू करने के लिए बनाई समाजसेवी अन्ना हजारे की अगुवाई में बनाई समिति के मसौदे पर अपनी मंजूरी दे दी है। शीतकालीन सत्र के एक दिन पहले आयोजित प्रेस वार्ता में पत्रकारों से बात करते हुए देवेंद्र फडणवीस ने इस बात की जानकारी दी। इसी के साथ उन्होंने यह भी कहा कि, शीतकालीन सत्र में इस संबंध में नया विधेयक सदन में पेश किया जाएगा।
मुख्यमंत्री और मंत्रियों के खिलाफ भी दर्ज हो सकेंगे मामले : उपमुख्यमंत्री ने कहा कि, “मौजूदा समय में राज्य में जो एंटी-करप्शन कानून है। उसमें लोकयुक्त को यह आदेश देना का हक़ नहीं था कि, वह मुख्यमंत्रियों और मंत्रियों के खिलाफ करप्शन का मामला दर्ज करने का आदेश दे सके। हमने इस विधेयक की मदद से उन्हें यह अधिकार दे दिया है। जिससे वह बिना अनुमति के मुख्यमंत्री, उप मुख्यमंत्री सहित मंत्रियों को खिलाफ एसीबी को मामला दर्ज करने का आदेश दे सकते हैं।”
पांच लोगों की होगी टीम : फडणवीस ने कहा कि, “भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम को इस कानून का हिस्सा बनाया जाएगा और लोकायुक्त में सेवानिवृत्त न्यायाधीश के नेतृत्व में पांच लोगों की एक टीम होगी।”
हम पूरी पारदर्शिता के साथ सरकार चलाएंगे : लोकायुक्त कानून पर मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा, “हम पूरी पारदर्शिता के साथ सरकार चलाएंगे। हम महाराष्ट्र को भ्रष्टाचार मुक्त बनाएंगे, इसलिए हमने राज्य में लोकायुक्त कानून लाने का फैसला किया है।”